नई दिल्ली I हर कोई अमीर बनना चाहता है. हर किसी की जिंदगी में एक लक्ष्य होता है कि दिन-रात मेहनत करके वो जो कमाता है, सभी खर्चे के बाद जो पैसे बचते हैं उससे ज्यादा से ज्यादा लाभ कमा सके. इस लक्ष्य की पूर्ति में पिछले करीब दो दशक से म्युचुअल फंड में लगातार निवेश बढ़ रहा है और इसके बेहतर परिणाम भी मिल रहे हैं.

पहला तरीका
शुरुआती नौकरी के साथ ही अगर कोई युवा म्युचुअल फंड में निवेश करना शुरू कर देता है तो फिर उसे सबसे बेहतर रिजल्ट मिलता है. उदाहरण के तौर पर मोहित की उम्र 20 साल है, और उसे पहली नौकरी में 20 हजार रुपये महीने मिल रहे हैं. ऐसे में मोहित हर रोज अपने जेब खर्च से 30 रुपये बचा सकता है. जो महीने में 900 रुपये हो जाते हैं. अब इस रकम को हर महीने सिस्‍टमैटिक इन्‍वेस्‍टमेंट प्‍लान (SIP) के जरिए किसी भी डायवर्सिफाइड म्युचुअल फंड में निवेश किया जा सकता है.

वैसे तो कई म्‍युचुअल फंड में 20 फीसदी तक रिटर्न मिला है, लेकिन औसतन 12.5 फीसदी से अधिक रिटर्न तो इससे मिला ही है. अगर इसी रिटर्न को ध्यान में रखकर मोहित अगले 40 साल तक 900 रुपये हर महीने निवेश करता है तो वह 60 साल की उम्र में करोड़पति बन जाएगा. एक अनुमान के मुताबिक 40 साल में (4,32,000 रुपये) के निवेश पर रिटर्न कुल राशि 1,01,55,160 रुपये मिल सकती है. दरअसल, लॉन्ग टर्म निवेश में कंपाउंडिंग यानी चक्रवृद्धि ब्‍याज आपके छोटे निवेश को काफी बड़ा बना देता है.

दूसरा तरीका
उम्र कुछ भी हो, वित्तीय जानकार आज के दौर में म्युचुअल फंड में निवेश की ही सलाह देते हैं. हालांकि इसमें जोखिम भी पूरा है. लेकिन अगर थोड़ी रिस्क के साथ लंबे समय तक एसआईपी के जरिए निवेश किया जाए तो दूसरे निवेश के तरीकों से ये बेहतर ऑप्शन साबित होगा. लंबे समय में महंगाई से सिर्फ म्युचुअल फंड के रिटर्न ही लड़ सकते हैं. 

हालांकि, भारत में ये देखा गया है कि 25 साल के बाद ही युवा नौकरी-पेशा हो जाते हैं. ऐसे में पांच साल की नौकरी के बाद ही निवेश का ख्याल आता है. यानी उम्र 30 की हो चुकी होती है. लेकिन 30 उम्र के बाद भी अगर रोजाना 100 रुपये बचाकर महीने में 3 हजार रुपये म्युचुअल फंड में (SIP) किए जाएं तो वो भी सालाना 12.5 फीसदी अनुमानित रिटर्न के बाद 60 साल की उम्र में करोड़पति बना देंगे.

तीसरा तरीका
अगर कोई 20 साल तक ही म्युचुअल फंड में निवेश करना चाहता है तो वो भी करोड़पति बन सकता है. इसके लिए हर महीने कम से कम 5,000 रुपये निवेश करना होगा. यही नहीं, जब 20 साल बाद रिटर्न एक करोड़ रुपये मिलेंगे तो उस पर कोई टैक्स भी नहीं लगेगा. दरअसल, कुछ इक्विटी फंडों ने पिछले 20 सालों के दौरान 20 फीसदी सालाना से ज़्यादा का सीएजीआर रिटर्न दिया है. ऐसे फंड ने 12 लाख रुपये के निवेश करने वालों को करोड़पति बना डाला है.

उदाहरण के तौर पर एचडीएफसी इक्विटी फंड को बेहतरीन रिटर्न देने वाला माना जाता है. पिछले 20 सालों में इसने 20 फीसदी से ज्यादा सीएजीआर रिटर्न दिया है. इसके अलावा रिलायंस ग्रोथ फंड, एचडीएफसी टॉप 200 फंड, रिलायंस विज़न फंड और फ्रैंकलिन इंडिया प्राइमा फंड ने शानदार रिजल्ट दिए हैं. जिससे निवेशकों का झुकाव म्युचुअल फंड की ओर बढ़ा है.

हालांकि कुछ म्युचुअल फंड ने उम्मीद के मुताबिक परिणाम नहीं दिए हैं. ऐसे में इस फंड में निवेशकों को थोड़ी निराशा जरूर हुई होगी. इसके अलावा छोटे निवेशकों के लिए फंड का चुनाव करना सबसे मुश्किल काम होता है, क्योंकि सही फंड का चयन करने के लिए काफी शोध की ज़रूरत होती है. इसलिए  म्युचुअल फंड में निवेश से पहले सभी पहलुओं पर विचार कर लें, हो सके तो किसी वित्तीय जानकार से सलाह जरूर लें.
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